भिलाई नगर 10 मार्च 2023 : 14 वाँ आदिवासी युवा विनिमय कार्यक्रम के तहत 10 मार्च को जिला कांकेर, छत्तीसगढ़ के अति दुर्गम एवम् नक्सल प्रभावित क्षेत्रों से युवक एवं युवतियों के दसवें जत्थे को दुर्ग रेलवे स्टेशन से शिमला (हिमाचल प्रदेश) के लिए रवाना किया गया। जिसमें 30 युवक-युवतियों सहित सीमा सुरक्षा बल के 01 पु़रूष सुरक्षा अधिकारी और 02 महिला सुरक्षा अधिकारी शामिल है। यह जत्था शिमला (हिमाचल प्रदेश) में विभिन्न राज्यों के अन्य आदिवासी युवाओं से मिलकर अन्य राज्यों की संस्कृति से रूबरू होगा।
इस कार्यक्रम का उद्देश्य आदिवासी युवाओं को भारत की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत के प्रति संवेदनशील बनाना और उन्हें विविधता में एकता की अवधारणा की सराहना करने में सक्षम बनाना है। आदिवासी युवाओं को दूसरे राज्यों की औद्योगिक उन्नति और सामाजिक विकास गतिविधियों से अवगत कराना तथा देश के दूसरे हिस्सो से आए अन्य आदिवासी युवाओं के साथ भावनात्मक जुड़ाव विकसित करने में मदद करना व उनके आत्म-समान में बढ़ोतरी करना है।
नेहरू युवा केन्द्र संगठन, नई दिल्ली (युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्रालय, भारत सरकार) एवं गृह मंत्रालय के संयुक्त तत्वाधान में 14 वाँ आदिवासी युवा विनिमय कार्यक्रम आयोजित किया जा रहा है। प्रत्येक आदिवासी युवा आदान-प्रदान कार्यक्रम की अवधि 07 दिन है। छत्तीसगढ के कांकेर जिले में तैनात सीमा सुरक्षा बल (बीएसएफ) के वामपंथी उग्रवाद प्रभावित इलाके से इस वर्ष कुल 14 भ्रमण कार्यक्रमों के अतंर्गत 18 से 22 वर्ष के आयु वर्ग के 290 चयनित युवा भाग ले रहे है।
इस कार्यक्रम के दसवें जत्थे को शिमला (हिमाचल प्रदेश) रवाना करते हुए इन्दराज सिंह, महानिरीक्षक, सीमा सुरक्षा बल सीमांत मुख्यालय (विशेष संक्रिया) छत्तीसगढ़ एवं दिनेश मुर्मू उपमहानिरीक्षक (इंटेलीजेंस) ने बधाई व शुभकामनाएँ दी।