भिलाईनगर। इस्पात संयंत्र ने इंडस्ट्री 4.0 प्रौद्योगिकियों का लाभ उठाने के लिए, वर्ष 2020 में डिजिटल परिवर्तन की अपनी यात्रा में पदचिह्न बनाना शुरू किया। इस यात्रा में महत्वपूर्ण परियोजनाओं की पहचान करते हुए, विभिन्न तकनीकी विक्रेताओं द्वारा अवधारणाओं के प्रमाण की स्थापना, इंडस्ट्री लीडरों के साथ कई वेबिनार का आयोजन तथा विभिन्न स्तरों में इंडस्ट्री 4.0 पर ऑनलाइन प्रशिक्षण कार्यक्रमों का आयोजन आदि भी शामिल है।
इंडस्ट्री 4.0 परियोजनाओं के प्रभावी कार्यान्वयन को सुनिश्चित करने के लिए, भिलाई इस्पात संयंत्र ने भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान, आईआईटी भिलाई की टीम के साथ मिलकर एक इंटरैक्टिव सत्र विमर्श: डिजिटल ट्रांसफॉर्मेशन पर संवाद सत्र का आयोजन किया। कार्यक्रम का लक्ष्य सुरक्षा, निर्माण, खनन, परियोजना निष्पादन, मानव संसाधन प्रबंधन, वित्तीय प्रबंधन, आपूर्ति श्रृंखला प्रबंधन के साथ-साथ स्वास्थ्य और चिकित्सा सेवाओं के क्षेत्रों में प्रौद्योगिकियों से लेकर प्रभावी अनुप्रयोगों तक शामिल था। संवाद सत्र में बीएसपी और आईआईटी-भिलाई के सहयोग और इसके भविष्य पर भी चर्चा की गई।
संवाद कार्यक्रम की अध्यक्षता भिलाई इस्पात संयंत्र के निदेशक प्रभारी अनिर्बान दासगुप्ता और प्रोफेसर रजत मूना, निदेशक आईआईटी भिलाई ने संयुक्त रूप से की। इस संवाद सत्र में भिलाई इस्पात संयंत्र के कार्यपालक निदेशक (पी एंड ए), एस के दुबे, कार्यपालक निदेशक (एमएम) राकेश, मुख्य महाप्रबंधक प्रभारी (एफ एंड ए), डॉ अशोक कुमार पांडा तथा संयंत्र सभी मुख्य महाप्रबंधकगण और वरिष्ठ अधिकारीगण सम्मिलित हुये।
आईआईटी-भिलाई की टीम में फैकल्टी डॉ गगन गुप्ता, डॉ अनिल कुमार साव, डॉ विश्वेश जटाला तथा सीईओ-इनोवेशन एंड टेक्नोलॉजी, डॉ कृष्णा मूर्ति बुलुसु शामिल थे। सेल की शीर्ष समिति के वरिष्ठ सदस्य और सेल के अन्य संयंत्रों के डिजिटल चैंपियन वेब प्लेटफॉर्म के माध्यम से कार्यक्रम में शामिल हुए। कार्यक्रम का आयोजन भिलाई इस्पात संयंत्र के निदेशक प्रभारी तथा संयंत्र के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों के मार्गदर्शन में सीजीएम (इलेक्ट्रिकल) पी के सरकार और उनकी टीम द्वारा किया गया।