शहीद लेफ्टिनेंट कर्नल कपिल देव पाण्डेय पंचतत्व में विलीन… दिल्ली के बरार स्क्वायर मुक्तिधाम में सैनिक सम्मान के साथ हुआ अंतिम संस्कार.. नजदीकी रिश्तेदारों के साथ अंतिम दर्शन के लिए आज सुबह रवाना हुई मां और बहन

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भिलाई नगर/ नई दिल्ली 04 जुलाई 2022:- भारतीय सेना में लेफ्टिनेंट कर्नल शहीद कपिल देव पाण्डेय पंच तत्व में विलीन हो गए। आज दोपहर बाद साय 04 बजे दिल्ली के बरार स्क्वायर मुक्तिधाम पर सैनिक सम्मान के साथ उनका अंतिम संस्कार किया गया। भिलाई के नेहरु नगर में रहने वाली मां कुसुम पाण्डेय और बहन भावना पाण्डेय शहीद के अंतिम दर्शन के लिए नजदीकी रिश्तेदारों के साथ आज सुबह ही फ्लाइट से दिल्ली रवाना हुए।सेना में लेफ्टिनेंट कर्नल नेहरू नगर भिलाई निवासी कपिल देव पाण्डेय इंफाल लैंडस्लाइड की चपेट में आने से शहीद हो गए। बीते बुधवार की रात से वे लापता थे। लगातार बारिश सेना के रेस्क्यू ऑपरेशन में बाधा उत्पन्न कर रहा था। अंततः रविवार की शाम को रेस्क्यू टीम ने उनका शव बरामद कर लिया। शहीद लेफ्टिनेंट कर्नल कपिल देव पाण्डेय न्यू प्रेस क्लब ऑफ भिलाई नगर की अध्यक्ष सुश्री भावना पांडेय के भाई थे।उनकी पत्नी लेफ्टिनेंट कर्नल डॉ छबि पाण्डेय दिल्ली में ही रहती हैं। उनके दो बेटे अभिराज ( 8 वर्ष ) और अवीर ( 3 वर्ष ) हैं। जानकारी के अनुसार घटना बुधवार रात करीब साढ़े 12.30 बजे मणिपुर के इंफाल में निर्माणाधीन जिरिबम रेलवे लाइन और रेलवे स्टेशन की है। उस समय लेफ्टिनेंट कर्नल कपिल देव पाण्डेय वीडियो काॅल में अपनी मां कुसुम और बहन भावना पाण्डेय से बात कर रहे थे।कपिल तीन साल से भिलाई नहीं आए हैं। लिहाजा मां ने जिज्ञासावश बेटे से पूछा कि वह भिलाई कब आ रहा है? उसी समय कपिल को गड़गड़ाहट सुनाई दी। जिसके बाद उन्होंने मां से कहा कि लगता है कैंप स्थल के पीछे कुछ हो रहा है, जाना पड़ेगा। यह कहते हुए काल डिसकनेक्ट कर दिया। उसके बाद से लेफ्टिनेंट कर्नल कपिल देव का मोबाइल बंद था।

तीन साल पहले अंतिम बार आए थे भिलाई

लेफ्टिनेंट कर्नल कपिल देव पाण्डेय अक्टूबर 2019 में अंतिम बार भिलाई आए थे। उस समय उनकी माता की तबियत ठीक नहीं थी। उसके बाद से वे भिलाई नहीं आए हैं। लंबा समय होने की वजह से परिवार के सदस्यों के साथ दोस्त भी उसका भिलाई आने का बेसब्री से इंतजार कर रहे हैं। जून में उनका मेजर पद से लेफ्टिनेंट पद पर प्रमोशन हुआ है और अब ट्रांसफर का समय भी आ चुका था। उनकी मां कुसुम पाण्डेय चाहती थी कि बेटा अब घर के नजदीक अपना तबादला करवा ले। बुधवार को विडियो कॉल पर मां और बेटे के बीच इस मुद्दे पर भी चर्चा हुई थी।

घटनास्थल मणिपुर का सबसे संवेदनशील एरिया

मणिपुर के नोने जिला अंतर्गत जिरिबम रेलवे लाइन और स्टेशन का निर्माण कार्य चल रहा है। बोडो उग्रवादियों की वजह से यह प्रदेश का सबसे रिमोट और संवेदनशील एरिया में है। इसलिए निर्माण कार्य में लगे लोगों की सुरक्षा के लिए भारतीय सेना की टेरिटोरियल आर्मी की कंपनी 107 को तैनात किया गया था। लेफ्टिनेंट कर्नल कपिल देव टीम के कमांडर हैं और बीते तीन वर्षों से वहां पदस्थ थे। न्यू प्रेस क्लब ऑफ भिलाई नगर ने शहीद लेफ्टिनेंट कर्नल कपिल देव पाण्डेय को श्रद्धांजलि देने के साथ ही शोकाकुल परिवार के संबलता की कामना की है। नदी का तट धसकने के बाद हुई लैंडस्लाइड

सेना का कैंप नदीं से थोड़ी दूर स्थित है और चारों ओर पहाड़ है। बताया गया कि पहले नदी का तट धसका और उसके बाद पहाड़ी भी धसकने लगी। देखते ही देखते नदी पहाड़ के मलबे से ढक गई। करीब ढाई किलोमीटर के दायरे में चारों तरफ मलबा फैला हुआ है। साथ ही घटना के बाद से लगातार बारिश भी सेना के बचाव कार्य में बाधा उत्पन्न कर रही थी। आखिरकार रविवार को लेफ्टिनेंट कर्नल कपिल देव पाण्डेय का शव बरामद किया गया।


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