नई दिल्ली 20 फरवरी 2025 :- बलौदा बाजार-हिंसा मामले में 17 अगस्त से रायपुर जेल में बंद भिलाई विधायक देवेंद्र यादव को आज सुप्रीम कोर्ट से जमानत मिल गई है। 19 फरवरी को इस्पात नगरी भिलाई में जगह-जगह भिलाई विधायक देवेंद्र यादव का जन्मदिन धूमधाम से मनाया गया सुप्रीम कोर्ट से आज जमानत मिलने की खबर शहर में फैलते ही देवेंद्र यादव के समर्थको में जश्न का माहौल है और उनके चेहरे पर खुशियां लौट आई है। विधायक देवेंद्र यादव 06 महीने से अधिक समय तक जेल में रहे।

10 जून 2024 में बलौदाबाजार में सतनामी समाज के विरोध प्रदर्शन के दौरान कलेक्टर और एसपी ऑफिस जला दिए गए थे। इस मामले में भीड़ को भड़काने, आंदोलनकारी का साथ देने का आरोप लगाकर कांग्रेस विधायक देवेंद्र यादव पर केस दर्ज किया गया था।

सुप्रीम कोर्ट से इस केस को लेकर दिए गए दिशा निर्देश से जुड़े दस्तावेज बलौदाबाजार की अदालत में पेश किए जाएंगे





देवेंद्र पर भीड़ को उकसाने का आरोप
विधायक देवेंद्र यादव की गिरफ्तारी बलौदाबाजार हिंसा मामले में हुई है। उन पर लोगों को भड़काने का आरोप है। इस मामले में बलौदाबाजार पुलिस ने 4 बार नोटिस जारी किया, लेकिन विधायक ने बयान देने जाने से मना कर दिया था।
उन्होंने कहा था कि पुलिस को बयान लेना है, तो उनके पास और लेकर जाए। हालांकि पूछताछ के लिए तीसरा नोटिस मिलने पर देवेंद्र यादव ने बलौदाबाजार जाकर पुलिस अधीक्षक से मुलाकात भी की थी।
वहीं बलौदाबाजार पुलिस के एक उच्चाधिकारी की माने तो पुलिस के पास देवेंद्र के खिलाफ गवाह हैं। कुछ लोगों के बयान हैं। इसके अलावा पुलिस के पास कुछ वीडियो भी हैं। इसको आधार बनाकर उन पर कार्रवाई की जा रही थीं।
देवेंद्र यादव ने सुप्रीम कोर्ट में क्या दलील दी
विधायक देवेंद्र यादव की ओर से सुप्रीम कोर्ट में अपने बचाव में कहा गया कि बलौदाबाजार हिंसा घटना वाले दिन वह सिर्फ सभा में शामिल हुए, लेकिन वो मंच पर नहीं गए, उन्होंने मंच से कोई भाषण नहीं दिया। इसलिए यह नहीं कहा जा सकता कि उन्होंने भीड़ को उकसाया होगा।
कार्यक्रम में शामिल होने और वापस लौट जाने का समय हिंसक घटना के समय से बिल्कुल अलग है। जहां हिंसक घटना हुई वहां देवेंद्र यादव मौजूद नहीं थे। उनकी गिरफ्तारी भिलाई स्थित उनके घर से हुई जो की घटनास्थल से कई किलोमीटर दूर है। पुलिस की कार्रवाई पूरी तरह से गलत और राजनीति से प्रेरित है।



17 अगस्त को बलौदाबाजार हिंसा में पुलिस ने गिरफ्तार किया है। कोर्ट ने 3 दिन रिमांड पर भेजा था।
20 अगस्त- वीडियो कॉन्फ्रेंस से पेशी हुई, कोर्ट ने फिर 7 दिन की रिमांड बढ़ाई। भूपेश बघेल समेत कई नेता जेल में मिलने भी पहुंचे थे।
23 अगस्त- कांग्रेस प्रभारी सचिन पायलट देवेंद्र यादव से मिलने सेंट्रल जेल पहुंचे।
24 अगस्त- कांग्रेस ने देवेंद्र यादव की गिरफ्तारी के खिलाफ प्रदेशभर में प्रदर्शन किया।
27 अगस्त- फिर कोर्ट ने 7 दिन रिमांड बढ़ाई अगली पेशी 3 सितंबर को हुई।
30 अगस्त- देवेंद्र यादव को बिहार कांग्रेस का प्रभारी सचिव बनाया गया। आदेश वाले दिन भी वे जेल में ही थे।
3 सितंबर- 7 दिन और रिमांड बढ़ी, 9 सितंबर तक जेल भेजा गया।
9 सितंबर- कोर्ट से राहत नहीं मिली, 17 सितंबर तक रिमांड बढ़ी।



क्या है बलौदाबाजार हिंसा
15 मई को सतनामी समुदाय के धार्मिक स्थल गिरौदपुरी धाम से करीब 5 किमी मानाकोनी बस्ती स्थित बाघिन गुफा में लगे धार्मिक चिन्ह जैतखाम को देर रात क्षतिग्रस्त कर दिया गया था। इसके बाद कार्रवाई की मांग उठी और लगातार लोकल स्तर पर प्रदर्शन हुए।
19 मई को पुलिस ने इस मामले में बिहार निवासी 3 आरोपियों को गिरफ्तार किया। पूछताछ में पता चला कि नल-जल योजना कार्य में ठेकेदार पैसे नहीं दे रहा था। इसलिए शराब के नशे में आरोपियों ने तोड़फोड़ कर दी लेकिन इस कार्रवाई से समाज के लोग संतुष्ट नहीं थे।
इस बीच 10 जून को बलौदाबाजार में प्रदर्शन के दौरान अचानक से लोग उग्र हो गए और बवाल बढ़ता चला गया। हिंसा के दौरान कलेक्टर-एसपी दफ्तर में आगजनी की गई। कई गाड़ियां जला दी गई। इसके बाद कई जनप्रतिनिधि समेत करीब 187 लोगों की गिरफ्तारी हुई



