भिलाई नगर 21 नवंबर 2024 : भिलाई नगर के नगर पुलिस अधीक्षक सत्य प्रकाश तिवारी ने एक वीडियो जारी कर अक्टूबर माह में गिरफ्तार फरीदनगर डेरा निवासी पिंटू नेताम के मौत के संबंध में विस्तार से पुलिस का पक्ष रखा उन्होंने बताया कि लगभग 28 दिन पूर्व लूट के मामले में पुलिस ने पिंटू नेताम को गिरफ्तार कर जेल भेजा था 15 नवंबर के आसपास उसका बीपी लो होने और तबियत बिगड़ने पर उसे दुर्ग अस्पताल में भर्ती कराया गया
स्वस्थ होकर 17 अगस्त को पिंटू अस्पताल से वापस जेल चला गया 18 नवंबर को पुन: तबीयत बिगड़ने पर उसे दुर्ग अस्पताल ले जाया गया जहां से उसे रायपुर रिफर कर दिया गया जिसकी आज मौत हो गई मौत के संबंध में कुछ कतिपय तत्वो द्वारा अफवाह फैला रहे हैं कि पुलिस और जेल प्रबंधन की मारपीट में पिंटू की मौत हुई है जो सरासर गलत बे- बुनियाद और निराधार आरोप है।
थाना सुपेला अंतर्गत चौकी स्मृतिनगर में अपराध क्रमांक 1104/2024 धारा 115(2),309(4),3(5) बी एन एस (लूट) के प्रकरण में फरीदनगर डेरा निवासी आरोपी पिंटू नेताम को दिनांक 18-10-24 को अन्य दो आरोपियों के साथ गिरफ्तार कर न्यायिक रिमांड पर जेल भेजा गया था आरोपी पिंटू नेताम 18-10-24 से केंद्रीय जेल दुर्ग में निरुद्ध था
अरोपी पिंटू नेताम को पूर्व से मिर्गी के झटके आने की शिकायत भी थी
केंद्रीय जेल में निरुद्ध रहने के दौरान गिरफ्तारी के लगभग 28 दिन बाद दिनांक 15-11-24 को अचानक उसका ब्लड प्रेशर लो होने के कारण उपचार हेतु जिला अस्पताल दुर्ग एडमिट किया गया था स्तिथि सामान्य होने के बाद उसे 17-11-24को वापस केंद्रीय जेल दुर्ग वापस भेज दिया गया
पुनः दिनांक 18-11-24 को उसका ब्लड प्रेशर लो होने की शिकायत के बाद जेल प्रशासन द्वारा उपचार हेतु मेकहारा अस्पताल रायपुर एडमिट कराया गया था।
जहाँ डॉ द्वारा ब्रेन स्ट्रोक के कारण उसका ब्लड प्रेशर लो होना एवम ब्रेन में ऑक्सीजन सप्लाई कम होने के कारण आईसीयू में भर्ती किया गया था।
जहाँ उपचार के दौरान आज दिनांक 21-11-24 को उसकी मृत्यु हो गई है।
पुलिस कार्यवाही या जेल में अभिरक्षा के दौरान उसके साथ किसी भी प्रकार का मारपीट या उत्पीड़न जैसी कोई घटना नहीं हुई है।
कतिपय तत्वों द्वारा मृतक पिंटू नेताम के साथ पुलिस द्वारा मारपीट किए जाने का भ्रामक खबर जानबूझकर फैलाया जा रहा है और कानून व्यवस्था की स्थिति ख़राब करने का प्रयास किया जा रहा है
जो पूर्णतया भ्रामक बेबुनियाद और निराधार है।
विचाराधीन बंदी की मृत्यु की मजिस्ट्रियल जाँच विधिअनुरूप की जाएगी।