ब्रेकिंग:-  पूर्व मंत्री कवासी लखमा और उनके पुत्र हरीश से आज ईडी करेगी पूछताछ, गिरफ्तारी भी संभव….

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रायपुर 03 जनवरी 2025:- पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा और उनके पुत्र हरीश कवासी को ईडी ने 3 जनवरी को रायपुर कार्यालय में पूछताछ के लिए बुलाया है। चर्चा है कि पूछताछ के बाद उनकी गिरफ्तारी भी हो सकती है। छत्तीसगढ़ के 2161 करोड़ के बहुचर्चित शराब घोटाले में कवासी लखमा का बड़ा रोल होने की चर्चा रही है। बीते लोकसभा और विधानसभा चुनावों के दौरान ही कवासी लखमा के सिर पर ईडी की तलवार लटक रही है। पूछताछ के बाद पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा और उनके पुत्र को गिरफ्तार करने की आशंका जतायी जा रही है।

उल्लेखनीय है कि कुछ दिन पहले शराब घोटाला मामले में ईडी ने रायपुर, धमतरी व सुकमा में बड़ी छापेमारी की कार्यवाही की थी। लगातार आठ घंटे चली छापेमारी में ईडी ने कई अहम डिजिटल सबूत हाथ लगने का दावा किया है। ईडी ने माना है कि पूर्व आबकारी मंत्री तक भी घोटाले की बड़ी रकम हर माह पहुंचती थी। यह तलाशी अभियान पूर्व आबकारी मंत्री कवासी लखमा के आवासीय परिसर में किया गया था, जो कथित तौर पर आबकारी मंत्री के रूप में अपने कार्यकाल के दौरान नकद में अपराध की आय (पीओसी) के मुख्य प्राप्तकर्ता थे।

उनके सुकमा जिला पंचायत अध्यक्ष पुत्र हरीश कवासी और उनके करीबी सहयोगियों के आवासीय परिसरों में भी तलाशी ली गई थी। तलाशी में ईडी ने घोटाले की अवधि के दौरान कवासी लखमा द्वारा नकद में पीओसी के उपयोग से संबंधित सबूत जुटाने का दावा किया है। इसके अलावा तलाशी में कई डिजिटल उपकरणों की बरामदगी और जप्ती भी हुई है, जिनमें आपत्तिजनक रिकॉर्ड होने का संदेह है। ईडी की जांच में पहले पता चला था कि अनवर ढेबर, अनिल टुटेजा और अन्य लोगों का शराब सिंडिकेट छत्तीसगढ़ राज्य में काम कर रहा था। इस घोटाले के पीओसी का अनुमान लगभग 2161 करोड़ रुपए है।

ईडी की जांच से पता चला है कि कवासी लखमा शराब घोटाले के पीओसी से हर माह बड़ी रकम कैश में लेते थे। 2019 से 2022 के बीच चले शराब घोटाले में ईडी की जांच से पता चला है कि पीओसी अवैध कमीशन के रूप में प्राप्त किया गया था और इसके लिए कई तरीके अपनाए गए थे। बहरहाल आज इन तमाम आरोपों के बीच पूर्व मंत्री कवासी लखमा से पूछताछ की जाएगी। उसके बाद मामले पर बड़ी कार्यवाही के संकेत हैं।


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