नई दिल्ली 3 सितंबर 2022:! फीफा के निलंबन के बाद AIFF (ऑल इंडिया फुटबॉल फेडरेशन) को चलाने के लिए नया प्रेसिडेंट चुन लिया गया है। सुप्रीम कोर्ट की सिफारिशों पर काम करते हुए इंडिया फुटबॉल फेडरेशन के दिल्ली हेडक्वार्टर में चुनाव हुआ। इस चुनाव में भाजपा नेता कल्याण चौबे को 34 में से 33 वोट मिलें फीफा के निलंबन के बाद AIFF (ऑल इंडिया फुटबॉल फेडरेशन) को चलाने के लिए नया प्रेसिडेंट चुन लिया गया है। सुप्रीम कोर्ट की सिफारिशों पर काम करते हुए इंडिया फुटबॉल फेडरेशन के दिल्ली हेडक्वार्टर में चुनाव हुआ। इस चुनाव में भाजपा नेता कल्याण चौबे को 34 में से 33 वोट मिलें। उनके खिलाफ भारत के पूर्व फुटबॉल कप्तान बाईचुंग भूटिया थे । भूटिया को सिर्फ एक वोट से ही संतोष करना पड़ा। ऑल इंडिया फुटबॉल फेडरेशन की राष्ट्रीय कार्यकारिणी में पहली बार छत्तीसगढ़ को प्रतिनिधित्व मिला है इस्पात नगरी भिलाई के लोकप्रिय फुटबॉलर मोहनलाल को राष्ट्रीय कार्यकारिणी का सदस्य चुन लिया गया है…. इस अवसर पर चुनाव अधिकारी की भूमिका सेवानिवृत्त भारतीय प्रशासनिक सेवा के अधिकारी उमेश सिन्हा ने निभाई....
AIFF में प्रेसिडेंट पोस्ट के अलावा अन्य पोस्ट पर भी चुनाव हुए। एनए हैरिस को AIFF का वाईस प्रेसिडेंट चुना गया है। वो कर्नाटक के शांतिनगर से कांग्रेस के MLA हैं। हैरिस को वोटिंग के दौरान 29 वोट मिले जबकि 5 वोट उनके खिलाफ थे । अरूणाचल प्रदेश के किपा अजय ने 32-1 की लीड से कोषाध्यक्ष का पद जीता। AIFF के बचे हुए 14 पोस्ट पर सदस्यों का चुनाव निर्विरोध रहा।
कल्याण चौबे ने प्रफुल्ल पटेल की जगह ली है। वह भारतीय फुटबॉल टीम के पूर्व गोलकीपर थे और 1997-98 में कोलकाता जायंट्स मोहन बगान के लिए खेल चुके हैं। पूर्व गोलकीपर कल्याण ने ईस्ट बंगाल की टीम से भी गोलकीपिंग की है।
उन्होंने 1997 में इंडियन फुटबॉलर ऑफ द ईयर का अवॉर्ड भी जीता था। 2019 के लोकसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने इन्हें बंगाल की कृष्णानगर सीट से टिकट दिया था। इस चुनाव में चौबे की हार हुई थी।
क्या था फीफा और आईएफएफ का मामला?
भारत इस साल अंडर-17 महिला फुटबॉल वर्ल्ड कप की मेजबानी करने वाला था। ऑल इंडिया फुटबॉल फेडरेशन तैयारियों में जुटा हुआ था, लेकिन 16 अगस्त को फीफा ने AIFF को बैन कर दिया। भारतीय फुटबॉल का भविष्य अंधेरे में था। फीफा ने तीसरी पार्टी के दखल को कारण बताते हुए भारत पर बैन लगाया था।
सुप्रीम कोर्ट ने इस पूरे मामले में एक कमेटी का गठन किया। इस कमेटी का काम इस पूरे मामले का निपटारा कराना था और AIFF में चुनाव करवाना था। कमेटी कार्य की वजह से फीफा ने 25 अगस्त को AIFF पर से बैन हटाया। इसी प्रक्रिया में आज चुनाव सफल रूप से खत्म हो गए हैं।