भिलाई नगर 8 सितंबर 2022 / चरोदा के जोन-2 में सेन्ट्रल विस्टा प्रोजेक्ट के तहत नए संसद भवन का भव्य प्रतिरुप बनाकर गणेशोत्सव मना रहे नव युवा एकता मंच के सदस्यों की खुशियां मातम में बदल गई है। इस समिति के एक सदस्य की बुधवार को पंडाल पर पूड़ी सब्जी का प्रसाद बांटते समय चक्कर खाकर गिरने से हुई मौत ने गणेशोत्सव की खुशियों में ग्रहण लगा दिया। इस अप्रत्याशित घटना से समिति के पदाधिकारी और सदस्यों के साथ ही परिवार के लोग गहरे सदमे में डूब गए हैं।..
गणेशोत्सव पंडाल पर दर्शनार्थियों को पूड़ी सब्जी और हलवा का प्रसाद बांटते समय जोन-2 चरोदा रेलवे कालोनी निवासी जीतेन्द्र निषाद पिता राम दयाल निषाद ( 36 वर्ष ) की मौत हो गई। जीतेन्द्र को हृदयाघात होने की आशंका जताई जा रही है। यह अप्रत्याशित घटनाक्रम बुधवार को रात सवा 9 बजे के आसपास पेश आया। जीतेन्द्र समिति के अन्य सदस्यों के साथ गणेशोत्सव पंडाल पर आने वाले दर्शनार्थियों को पूड़ी बांट रहा था। तभी अचानक वह चक्कर खाकर गिर पड़ा। समिति के सदस्य पंडाल के पास खड़ी जीआरपी चरोदा चौकी के चार पहिया वाहन में जीतेन्द्र को लेकर नजदीक के रेलवे अस्पताल लेकर भागे। चिकित्सकों ने प्रारंभिक जांच करने के साथ ही जीतेन्द्र को मृत घोषित कर दिया।
इस बात की जानकारी मिलते ही जोन-2 में नए संसद भवन के जैसा भव्य पंडाल बनाकर गणेशोत्सव का आयोजन कर रहे नव युवा चेतना मंच के सदस्यों में शोक की लहर छा गई। गणेशोत्सव स्थल पर बज रहे लाउडस्पीकर को बंद कर दिया गया। इस घटना से रेलवे कालोनी में शोक का माहौल बना हुआ है। हर कोई जीतेन्द्र की गणेशोत्सव में रहने वाली भागीदारी और मिलनसारिता को याद कर रहा है। आज सुपेला अस्पताल में पोस्टमार्टम के बाद चरोदा मुक्तिधाम में गमगीन माहौल के बीच जीतेन्द्र निषाद का अंतिम संस्कार किया गया।
नव युवा चेतना मंच के संरक्षक और चरोदा निगम के वरिष्ठ पार्षद चन्द्र प्रकाश पाण्डेय ने बताया कि जीतेन्द्र निषाद समिति का समर्पित और कर्मठ सदस्य था। प्रतिवर्ष जोन-2 गणेशोत्सव में वह बढ़ चढ़कर हिस्सा लेता था। उसका यूं ही चला जाना खल गया। उन्होंने बताया कि गणेशोत्सव के दौरान पूजा विधि चलती रहेगी। लेकिन सांस्कृतिक आयोजनों को स्थगित कर दिया गया है। प्रतिमा विसर्जन का कार्यक्रम भी अब सादगी के साथ संपन्न करने का निर्णय लिया गया है।
पहले एक बार आया था हार्ट अटैक
पता चला है कि जीतेन्द्र निषाद को पहले भी एक बार हार्ट अटैक आ चुका था। पिछले साल दीपावली के आसपास उसकी तबियत बिगड़ी थी। जिसके बाद उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया था। उसे उच्च रक्तचाप की भी शिकायत थी। उसके पिता राम दयाल निषाद रेलवे से रिटायर्ड हैं। इस घटना के बाद उसकी पत्नी और दो बेटियों का रो रोकर बुरा हाल है। जीतेन्द्र बहुत पहले निजी कंपनी में काम करता था। लेकिन रेलवे कर्मचारी रहते उसके पिता को लकवा मार गया। जिसके बाद जीतेन्द्र अपना काम छोड़कर पिता को कार्य स्थल लाने ले जाने लगा। इस बीच पिता सेवानिवृत्त हो गए और जीतेन्द्र घर पर रहकर उनकी सेवा कर रहा था।