बिलासपुर 08 जनवरी 2025:- नशे के सौदागरो/ तस्करो के द्वारा अर्जित अवैध संपत्ति पर बिलासपुर पुलिस का प्रहार । रजनेश सिंह पुलिस अधीक्षक बिलासपुर के नेतृत्व में नशे के अवैध तस्करो की जड तक पहुच कर की जारही है इण्ड टु इण्ड कार्यावाही ।


नशीले इंजेक्शन के अंतरराज्यीय तस्कर संजीव कुमार छाबडा उर्फ सूच्चा बिलासपुर पुलिस के गिरफ्त मे।आरोपी द्वारा विगत् 20 वर्षों से बनाई गई कुल 2 करोड से अधिक की संपत्ति हुई जब्त, अग्रिम कार्यावाही हेतु सफेमा कोर्ट मुम्बई महाराष्ट्र प्रतिवेदन भेजी जाती है।













विभिन्न राज्य छ०ग० के बिलासपुर, जबलपुर, म०प्र, नागपुर, महाराष्ट्र, फरीदाबाद, हरियाण में बनाई थी करोडो की संपत्ति ।नशे के व्यापार में संलिप्त आरोपी सूच्चा सिंह उर्फ संजीव छाबडा के विरूध्द इण्ड टु इण्ड विवेचना दौरान फाईनेशियल इन्वेस्टीगेशन की कार्यावाही 13 दिवस की गई पूर्ण



नाम आरोपी – संजीव उर्फ सूच्चा सिंह पिता सादीलाल 53 वर्ष निवासी टिकरापारा कंसा चौक थाना सिटी कोतवाली बिलासपुर




प्रकरण में इण्ड टु इण्ड विवेचना के दौरान फाईनेशियल इंनवेस्टीगेंशन पर आरोपी संजीव छाबडा उर्फ सूच्चा के कई वर्षो से नशीला मादक पदार्थ इंजेक्शन की तस्करी कर अलग-अलग राज्य (छ०ग० के बिलासपुर, जबलपुर, म०प्र, नागपुर, महाराष्ट्र, फरीदाबाद, हरियाण) में करोडो की संपत्ति तैयार किया था जिसको चिन्हांकित कर एनडीपीएस एक्ट के प्रवधानो के तहत जब्ती कार्यावाही किया गया।

आरोपी के द्वारा नशीली टेबलेट / इंजेक्शन सप्लाई करने का तरीका-
आरोपी संजीव कुमार छाबडा के द्वारा नशीली टेबलेट 7200 नग वर्ष 2018 पर थाना कोतवाली जिला बिलासपुर के द्वारा पकडा गया जिसे प्रकरण में गिरफ्तार किया गया जो आरोपी पुलिस के भय व डर से बिलासपुर शहर को छोडकर अपना ठिकाना ग्राम मौदा नागपुर महाराष्ट्र में अपने आपको कान्ट्रेक्टर बताते हुऐ नागपुर से नशीला मादक पदार्थ इंजेक्शन को बेचने के लिये बिलासपुर शहर के बंटी गहेरवार की पत्नि अकांक्षा लासरे, अंजली गेंदले व भाठापारा के बुगाला उर्फ बृजलाल कुर्रे इसी प्रकार तखतपुर, रायपुर, बालाघाट, में नशीला मादक पदार्थ इंजेक्शन बेचने के लिये अपने सप्लायरो से फोन पर बात कर अपने एकाउंट के माध्यम से नगदी रकम लेकर उन्हे नशीला मादक पदार्थ इंजेक्शन को बस एवं पार्सल के माध्यम से भेज कर शहर में नशीला मादक पदार्थ इंजेक्शन का बेचा जाता था जिससे प्राप्त रकम को जमीन व शेयर मार्केट में लगाता था।

आरोपी के द्वारा अर्जित संपत्ति को वैध करने का तरीका-
आरोपी संजीव कुमार छाबडा के अलग-अलग बैंको में खाते थे, जिसमें वह मादक पदार्थ की तस्करी से अर्जित रकम को नगदी के रूप में डलवाता था। तथा उक्त रकम को छिपाने के उदेश्य से आरोपी के द्वारा छाबडा कन्शट्रक्शन के नाम से बिलासपुर टिकरापार पर फर्म तैयार किया था जो फर्म की जाँच करने पर पाया गया कि उक्त नाम की कोई भी फर्म टिकरापारा पर नहीं है। जिसका आयकर विभाग से जानकारी लिया गया तो पता चला कि उक्त फर्म में कोई व्यावसाय नहीं है परन्तु फर्म के एकाउंट पर करोडो रूपये का लेन-देन किया गया है तथा अलग-अलग राज्यो में दुकान, जमीन, निर्माणधीन मकान, तैयार किया गया है।

उक्त गिरफ्तार आरोपी संजीव कुमार छाबड़ा के अलग अलग खातों का जांच करने पर पाया की आरोपी के द्वारा छत्तीसगढ के अलग अलग जिले में नशीला मादक पदार्थ इंजेक्शन को बस एवं पार्सल के माध्यम से भेजवाकर रकम को नगद रूप मे अपने एकांउट पर लेता था जिसका खातो में करोड़ो का लेन देन का हिसाब पाया गया गया है। आरोपी संजीव कुमार छाबड़ा के द्वारा रकम को अपने माता पिता व भाई व भाई की पत्नि के खातों मे रकम को डालकर और उसी रकम को अपने खातों पर वापस लेकर उक्त रकम से करोड़ो की प्रापर्टी बनाया था। जिसकी टीम के द्वारा आरोपी संजीव कुमार छाबडा की प्रापर्टी व खाते की रकम की पहचान कर जप्ती कार्यवाही कर अग्रिम कार्यावाही हेतु सफेमा कोर्ट मुम्बई महाराष्ट्र प्रतिवेदन भेजी जाती है।

उपरोक्त प्रकरण में आरोपी संजीव कुमार छाबडा की गिरफ्तारी व फाईनेशियल इंनवेस्टीगेंशन हेतु शामिल टीम को फाईनेशियल इंन्वेस्टीगेशन कर करोडो की संपत्ति जब्त करने पर पुलिस अधीक्षक रजनेश सिंह के द्वारा पुरस्कृत करने की घोषण की गई।



